पहलगाम हमले के खिलाफ निंदा प्रस्ताव के दौरान विधानसभा में भावुक नजर आये सीएम उमर अब्दुल्ला
आज सोमवार को जम्मू-कश्मीर विधानसभा में पहलगाम हमले के खिलाफ निंदा प्रस्ताव पास किया गया। इस मौके पर जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला भावुक नजर आये। अपने सम्बोधन के दौरान उन्होंने कहा कि मौजूदा हालातों के बीच वह केंद्र सरकार से पूर्ण राज्य का दर्जा मांगने में असहाय महसूस कर रहे हैं।
उन्होंने कहा, “आज जब मैं अपने राज्य की स्थिति देखता हूँ, तो सोचता हूँ कि किस मुँह से दिल्ली जाकर कहूँ कि हमें फिर से पूर्ण राज्य का दर्जा दो। हमने खुद ही अपनी स्थिति ऐसी कर ली है कि हमारी आवाज कमजोर हो गई है।”
लानत है मुझ पर – उमर अब्दुल्ला
मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने आगे कहा, ”मैं किस मुंह से इस पहलगाम के वाकये का इस्तेमाल करके केंद्र से कहूं कि अब मुझे पूर्ण राज्य का दर्जा दो। मेरी क्या इतनी सस्ती सियासत है। मुझे क्या 26 लोगों के मरने की इतनी कम कद्र है, हमने पूर्ण राज्य का दर्जा दिए जाने की बात पहले भी की, आगे भी करेंगे, लेकिन लानत हो मुझपर कि आज मैं केंद्र के पास जाऊं और कहूं कि मुझे पूर्ण राज्य का दर्जा दे दो। इस मौके पर न कोई सियासत, न कोई पूर्ण राज्य का दर्जा, न कुछ और…इस हमले की कड़ी निंदा करते हैं। टेबल हम किसी और मौके पर थपथपाएंगे।”
मुख्यमंत्री ने अपने सम्बोधन में यह भी स्वीकार किया कि राज्य के नेता और प्रशासन को आत्ममंथन करने की जरूरत है। उन्होंने कहा कि जब तक जनता का भरोसा बहाल नहीं होगा और राज्य में स्थिरता नहीं लौटेगी तब तक केंद्र से कोई भी बड़ी मांग करना व्यर्थ होगा।
इस सत्र के दौरान उमर अब्दुल्ला का चेहरा गंभीर था और कई बार उनकी आवाज भी रुंधनी हुई सुनाई दी। उनके इस भावुक अंदाज ने सदन में मौजूद सदस्यों को भी सोचने पर मजबूर कर दिया।
